
ऑपरेशन टाईम्स भोपाल।। भारतीय साक्ष्य अधिनियम के अतंर्गत ई- साक्ष्य को प्रभावी बनाने के लिए पुलिस मुख्यालय की ओर से कवायद की जा रही है। जानकारी के मुताबिक अब प्रदेशभर में विवेचकों को 25 हजार टैबलेट बांटे जाएंगे। जिससे विवेचना अधिकारी घटना स्थल की मौके से ही वीडियोग्राफी कर सकेंगे। बता दें कि विवेचक अभी तक पुराने टैबलेट या फिर अपने फोन का इस्तेमाल करते हैं। जिससे कई जगह मेमोरी और बैकअप जैसी समस्याएं सामने आती है।
विवेचक बदलने से नहीं होगी दिक्कत—
टैबलेट में अपराधों की विवेचना होने से सबसे ज्यादा सहूलियत विवेचक बदलने पर होगी। क्योंकि विवेचक बदलने से केस को समझने में दिक्कत होती थी। लेकिन अब टैबलेट में पूरी घटनाक्रम का ब्यौरा होने से विवेचना अधिकारी बदलने से कोई फर्क नहीं पड़ेगा। वहीं टैबलेट दूसरे विवेचना करने वाले को सौंप दिया जाएगा। अब तक विवेचकों की 20 हजार आइडी तैयार की जा चुकी है। जिन्हें जल्द टैब देने की तैयारी है।
टैबलेट सीसीटीएनएस पोर्टल से होगा कनेक्ट—
विवेचकों को दिए जाने वाले टैबलेट को सीधे क्राइम एंड क्रिमिनल ट्रैकिंग नेटवर्क एवं सिस्टम (सीसीटीएनएस) से जोड़ा जाएगा। ताकि टैबलेट में दर्ज किए गए ई-साक्ष्य सीधे सीसीटीएनएस में दर्ज हो जाए और फिर इन्हें साक्ष्य के रूप में कोर्ट में भी पेश किया जा सकेगा।
इनका कहना है—
नए टैबलेट देने को लेकर हाल ही में हुई बैठक में सैद्धांतिक सहमति मिल चुकी है। अब जल्द ही नए टैबलेट मुहैया करवाए जाएंगे। ताकि ई साक्ष्य को प्रभावी तरीके से लागू किया जा सके।
चंचल शेखर, एडीजी, एससीआरबी