
ऑपरेशन टाईम्स सिंगरौली।। सिंगरौली की सड़कों पर रेत व गिट्टी के ओवरलोड वाहनों का संचालन धड़ल्ले से किया जा रहा है। रेत व गिट्टी से बेरोकटोक चलने वाले वाहनों से सड़कों की दिनोंदिन हालत बदतर होती जा रही है। ओवरलोड वाहनों के कारण हर समय हादसे की आशंका बनी हुई है। शहर की कई जगहों की सड़कें घटिया निर्माण से बदहाल हो गई हैं। भारी वाहनों के आवागमन से सड़कें क्षतिग्रस्त हो गई हैं। इसके बावजूद ओवर लोड वाहनों के प्रवेश पर प्रतिबंध नहीं लग पा रहा है। इससे यातायात तो बाधित होता ही है आमजन को काफी परेशानी का सामना करना पड़ता है। कई जगहों की सड़कों को खस्ताहाल करने में भारी वाहनों ने प्रमुख भूमिका निभाई है। भारी वाहनों के प्रवेश पर प्रतिबंध होने के बाद भी शहर की सड़कों से प्रत्येक दिन सैकड़ों ओवरलोड वाहन निकल रहे हैं। इससे यातायात तो बाधित होता है साथ ही लोगों को भी काफी दिक्कतें होती है। इस समस्या का मुद्दा कई बार लोगों ने भी उठाया है। अधिकारियों और जिम्मेदारों को भी इस समस्या कई बार अवगत कराया गया है। इसके बावजूद आज तक कुछ नहीं हो पाया है। इससे लोगों में नाराजगी देखने को मिल रही है। जहां से परिवहन नियमों की अनदेखी कर ओवरलोड वाहनों का संचालन धड़ल्ले से किया जा रहा हैं। रेत व गिट्टी के ओवरलोड वाहन क्षेत्र की सड़कों पर दिन-रात सरपट दौड़ रहे हैं। इसके बावजूद परिवहन विभाग द्वारा ओवरलोड वाहनों के खिलाफ कार्रवाई नहीं की जा रही। इसके अतिरिक्त रेत के ओवरलोड वाहनों से उड़ती रेत और धूल जन जीवन के लिए परेशानी बनी हुई है। वहीं सड़कों की हालत भी दिन-प्रतिदिन बदतर होती जा रही हैं। सड़कों में गड्ढे बन रहे हैं। ये हादसों का बड़ा कारण बन रहे हैं। इससे सरकार को राजस्व की हानि पहुंचाई जा रही है। इसके बावजूद परिवहन विभाग या फिर प्रशासनिक अधिकारी इस ओर ध्यान नहीं दे रहे हैं।
हादसा हुआ तो जिम्मेदार कौन—
पुलिस व परिवहन विभाग की ओर से परिवहन नियमों का पालन सुनिश्चित कराने हेतु तमाम अभियान चला चलाए जाते हैं। इसके तहत कार्रवाई भी की जाती है। रेत स्टॉक से बेरोकटोक दौड़ने वाले वाहन बिना नंबर प्लेट नजर आते हैं। इन पर प्रभावी कार्रवाई होती नजर नहीं आ रही है। वाहनों में रेत ऊपर तक भरी रहती है। ओवरलोडिंग के कारण हादसे का खतरा बना रहता है। ऐसे में सवाल उठ रहे हैं कि ओवरलोड वाहनों से यदि कोई हादसा हुआ तो इसका जिम्मेदार कौन होगा।
ओवरलोड वाहन के चलने से धस गयी सड़कें—
आप को बता दे कि शहर में ओवरलोड वाहन के चलने से सड़कें धस गयी है। हम बात कर रहे शहर के माज़न मोड़ से नवानगर की तरफ जाने वाली सड़क की अगर आप बहा से गुजरते है तो आप देखेंगे की जिस तरफ से भरी वाहन निकलते है उस साइड की सड़क लगभग 6 इंच तक नीचे दब गयी है जिससे इस सड़क से होकर गुजरने वाले राहगीरो को परेशानी का सामना करना पड़ता है और डर बना रहता कि ऊपर नीचे होने के कारण बैलेंस खो कर कही गिर न जाये। और हमेशा हावशों का डर बना रहता है। ये सब सड़क की क्षमता से ज्यादा लोड लेकर निकल रहे भारी वाहनो के कारण ही हो रहा है।