गोपद नदी के किनारे बोरी में बंद मिले शव के मामले का लंघाडोल पुलिस ने किया खुलासा ,सगी बहन ने भाई की कराई थी हत्या
आरोपी बहन समेत 2 अन्य आरोपी गिरफ्तार, मृतक शराब पीकर घर में करता था मारपीट इसलिए बहन ने दो लोगों के साथ मिलकर करा दी भाई की हत्या

ऑपरेशन टाईम्स सिंगरौली।। लंघाडोल थाना क्षेत्र के ग्राम ताल में गोपद नदी के किनारे बोरी में बंद एक शव 12 जुलाई को मिला था। मृतक की पहचान लालबहादुर सिंह उर्फ भैयालाल सिंह गोड पिता स्व रामलाल सिंह गोंड उम्र 35 वर्ष निवासी मुर्किल थाना कोटाडोल जिला एमसीबी छ.ग. के रूप में हुयी थी। पोस्टमार्टम रिपोर्ट में युवक की गला दबाक हत्या करना पाया गया था। जिस पर पुलिस लगातार आरोपियों की तलाश कर रही थी। मामले की तफ्तीश में यह बात सामने आयी कि युवक शराब तथा गांजा का शौकीन था और नशे में अक्सर घर में मारपीट करता था। जिस कारण उसकी बहन ने दो लोगों के साथ मिलकर उसकी हत्या करा दी। बता दें कि दिनांक 12/07/2025 को गोपद नदी के किनारे ग्राम ताल में जूट के बोरे में एक अज्ञात शव मिला था। शव पूरी तरह से सड़ चुका था। पुलिस ने शव की पहचान ग्रामीण जनों से कराई परंतु शव की पहचान नहीं हो सकी थी। मृतक के बदन में नीले रंग का स्पोर्ट टीशर्ट एवं नीले रंग का स्पोर्ट चड्डा पहने हुए था। मृतक के गले में जूट की रस्सी बंधी हुई थी। जिससे प्रतीत हो रहा था कि मृतक की मृत्यु जूट/सुतरी की रस्सी से गला घोंटकर की गई होगी। विवेचना के दौरान पुलिस ने सोशल मीडिया में फोटो प्रसारित किया। जिसके परिणाम स्वरुप उक्त फोटो को देखकर दिनांक 15/07/2025 को एक व्यक्ति थाना लंघाडोल उपस्थित आया। जिसने अपना नाम शिवप्रताप सिंह गोंड पिता स्व. रामलाल सिंह उम्र 32 वर्ष निवासी ग्राम मुर्किल थाना कोटाडोल जिला एमसीबी छत्तीसगढ़ बताया। जिसने फोटो में मृतक के द्वारा पहने हुए कपड़ो एवं शरीर की बनावट से शव की पहचान अपने भाई लालबहादुर सिंह उर्फ भैयालाल सिंह गोंड पिता स्व. रामलाल सिंह गोंड उम्र 35 वर्ष निवासी मुर्किल थाना कोटाडोल जिला एमसीबी छ.ग. के रूप में की गई। चूकी मृतक की हत्या की गई थी तथा पहचानकर्ता द्वारा मृतक की हत्या का शक स्वंय की बहन फूलमती सिंह उर्फ करिया लाठी के द्वारा किये जाने का संदेह व्यक्त किया गया। जिस बिन्दु को भी ध्यान में रखते हुए सायबर की सहायता से सभी विषयों पर विवेचना की गई। पुलिस की टीम मृतक के घर पहुंचती है तथा मृतक के संबंध में घर में पूछताछ करती है तथा आस पड़ोस में भी पूछताछ करने पर यह जानकारी मिलती है कि मृतक भैयालाल दिनांक 08/07/2025 से घर से लापता था। उक्त दिनांक से एक हफ्ते पहले से मृतक के घर में दो व्यक्ति और थे। वे भी उसी दिन से लापता है। मृतक के घर में घटना से एक हफ्ते पहले रुके दो व्यक्तियों कौन थे। इस संबंध मृतक की बहन से पूछताछ की गई तो बहन के द्वारा साफ तौर पर मना किया गया कि उसके घर में कोई व्यक्ति नहीं थे। संदेह होने पर सख्ती से पूछताछ करने पर बहन फूलमती सिंह के द्वारा स्वीकार करते हुए पुलिस को बताया गया कि मृतक गांजा एवं दारु पीने का आदी था। आए दिन नशे में अपने बहन एवं मां से लड़ाई झगड़ा करता रहता था। कुछ महीने पूर्व मृतक ने लडाई झगड़ा करके अपने मां का हाथ तोड़ दिया था। भाई भैयालाल के शराब और गांजा के लत से बहन पूलमती अत्यधिक परेशान हो चुकी थी। जिस कारण से बहन के द्वारा अपने भाई को मारने का इरादा बनाकर दो अन्य व्यक्ति शिव कैलास सिंह एवं भूपत सिंह दोनी निवासी रोकड़ा थाना केल्हारी जिला एमसीबी को पैसा देकर भाई के मृत्यु के लिए हायर किया गया। जो दिनांक 03/07/2025 से दिनांक 08/07/2025 तक मृतक के घर में रुके थे और दिनांक 08/07/2025 को दोपहर में सही मौका मिलने पर जब भैयालाल दारु पीकर मस्त था। तब दोनों के द्वारा मृतक का गला घोटकर हत्या कर दी गई। हत्या करने के बाद शव को बोरे में भरकर रात होने तक घर में ही छुपा कर रखा गया तथा रात होने पर शव जो बोरे में बंद था।मोटरसाईकल में दोनो व्यक्ति बैठे और बोरे को बीच में रखकर गोपद नदी में ले जाकर बहा दिया गया। विवेचना के दौरान प्रकरण का मूल घटना स्थल मृतक का घर ग्राम मुर्किल थाना कोटाडोल जिला एमसीबी है। घटना स्थल से कई महत्वपूर्ण साक्ष्य प्राप्त हुए है। जिन बिन्दुओं पर भी विवेचना की जा रही है। तीनों आरोपीयो को गिरफ्तार करने में पुलिस को सफलता प्राप्त हुई है। जिन्हें दिनांक 30/07/2025 को गिरप्तार किया जाकर न्यायालय पेश किया गया। जो वर्तमान में जिला जेल वैढन में निरुद्ध है।
कार्यवाही में शामिल पुलिस टीम —
उक्त कार्यवाही में उपनिरीक्षक पुष्पेन्द्र धुर्वे (भाना प्रभारी लंघाडोल), सउनि विश्वनाथ रावत, नंदकुमार सिंह, महिला सउनि संतोषी सिंह, प्रआर रामनाथ सिंह, पुष्पराज सिंह, राजकुमार प्रजापती, देवेन्द्र पाण्डेय, संतोष केवट, आर मेहन्द्र चौरसिया, संपत सिंह, आशीष पाल, महफूज खान, धर्मेन्द्र यादव, नीरज धानुक, ज्ञान सिंह, उत्तिसगढ पुलिस टीम से उपनिरीक्षक टिकेश्वर यादव (थाना प्रभारी कैल्हारी), आर तेजप्रताप सिंह की भूमिका महत्वपूर्ण रही।